नवरात्र का पर्व श्रद्धा और आस्था का महापर्व है.... नौ दिनों तक देवी दुर्गा के विभिन्न स्वरूपों की आराधना में पूरा देश डूबा हुआ कि.... जगह–जगह भव्य पंडाल सजे हैं और मां दुर्गा का आशीर्वाद पाने भक्तों का तांता लगा हुआ है.... इसी बीच धमतरी शहर का एक दुर्गा पंडाल भक्तों के बीच विशेष आकर्षण का केंद्र बन गया है..... NH-30 टिकरापारा चौक मे इस बार समिति ने ऐसा अनोखा पंडाल तैयार किया है, जो श्रद्धालुओं को सीधे रतनपुर महामाया मंदिर की पवित्रता और भव्यता का अनुभव करा रहा है..… पंडाल को इस तरह सजाया गया है कि अंदर प्रवेश करते ही भक्तों को वही अलौकिक आभा महसूस होती है, जो रतनपुर महामाया के दरबार में देखने को मिलती है।
भावनाओं से भीगा दरबार
भक्तों की भावनाएं इस पंडाल में स्पष्ट झलकती है.... श्रद्धालु भारती ने भावुक होकर कहा –
हमेशा से मन में रतनपुर जाकर मां महामाया का दर्शन करने की इच्छा थी, लेकिन परिस्थितियाँ कभी अनुकूल नहीं हुईं.... यहां आकर लग रहा है मानो मेरी बरसों की मनोकामना पूरी हो गई हो।
इसी तरह श्रद्धालु लक्ष्मी ने आंखों में आंसू लिए कहा –
माता का स्वरूप इतना अद्भुत और जीवंत है कि लगता है सचमुच महामाया यहां विराजमान है..... मन को अपार शांति और शक्ति मिल रही है।
पंडाल में सेवा दे रहे पंडा शुभम ने भी अपनी अनुभूति साझा करते हुए बताया –
भक्त माता के चरणों में बैठते ही भक्ति रस में डूब जाते है.... कई लोग तो यही कहते हैं कि उन्हें बाहर जाने की इच्छा ही नहीं होती.... यह सब मां महामाया की कृपा है।
समिति का संकल्प
समिति के सदस्य आकाश जगताप ने बताया –
पिछले कई वर्षों से हमारी कोशिश रहती है कि छत्तीसगढ़ के प्रसिद्ध शक्ति पीठों को थीम के रूप में प्रस्तुत किया जाए.... इस बार रतनपुर महामाया मंदिर का जीवंत रूप देने का प्रयास किया गया है...…. हमारा उद्देश्य यही है कि जो भक्त वहां नहीं पहुँच पाते, उन्हें यहां मां महामाया का साक्षात दर्शन मिल सके।
आस्था का जीवंत प्रतीक
धमतरी का यह पंडाल केवल एक पंडाल नहीं, बल्कि श्रद्धालुओं की आस्था का जीवंत प्रतीक बन चुका है..... यहां आने वाले भक्त इसे सिर्फ एक सजावट या झांकी के रूप में नहीं देख रहे, बल्कि सचमुच रतनपुर महामाया का दरबार मानकर पूजा–अर्चना कर रहे हैं..... फिलहाल नवरात्रि के इस पावन अवसर पर धमतरी का यह महामाया दरबार शहरवासियों ही नहीं, बल्कि आने-जाने वाले राहगीरों के लिए भी आस्था और आकर्षण का केंद्र बना हुआ है।






